कंप्यूटर की पीढियां (Generation of Computer in Hindi)

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आज से कुछ दशकों पहले जिन चीजों की कल्पना तक नहीं की जा सकती थी, वह आज सामान्य हो चुकी है। जी हाँ, इसी तरह से तेजी से देश और दुनिया आगे बढ़ रहे है। विज्ञान ने पिछले कुछ शतकों में दुनिया में काफी बदलाव कर दिया है। आजके इस पोस्ट में हम आपको कंप्यूटर की पीढ़ियो (Generation of Computer in Hindi) के बारे में विस्तारपूर्बक बतायेंगे।

कंप्यूटर की पीढियां (Generation of Computer in Hindi)


आज के समय में हम एक आधुनिक ज़माने में जी रहे है जहा हमारे पास कई तरह की बेहतरीन सुविधाए मौजूद है जो हमारे जीवन को आसान बनाती है और यह सभी सुविधाएं विज्ञान की बदौलत ही हमारे पास है। आधुनिक दुनिया के निर्माण में कंप्यूटर का एक विशाल योगदान है जिसकी पांचवी पीढ़ी का उपयोग हम आज कर रहे है।

अगर आप ‘कंप्यूटर की पीढ़िया’ से संबंधित जानकारी नहीं रखते तो यह लेख पूरा पढ़े क्युकी इसमें आप Generation of Computer in Hindi के बारे में जानेंगे।

अनुक्रम

कंप्यूटर क्या है? (What is Computer in Hindi)

इस लेख में हम कंप्यूटर के बारे में विस्तार से बात करेंगे और कंप्यूटर की सभी पीढ़ियों की जानकारी प्राप्त करेंगे और ‘कंप्यूटर की पीढ़ियों’ की पूरी जानकारी आसान भाषा में अर्थात Generation of Computer in Hindi देंगे।


लेकिन कंप्यूटर की पीढ़ियों को समझने से पहले यह जरूरी है की आप कंप्यूटर के बारे में सटीक रूप से जाने और इसके लिए हमें सबसे पहला जो सवाल करना होगा वह यह होगा कि आखिर कंप्यूटर क्या है, तो चलिए सबसे पहले जानते है कंप्यूटर के बारे में। तो सबसे पहले अगर बात की जाये कंप्यूटर की परिभाषा के बारे में तो वैसे तो कंप्यूटर की कई परिभाषाए मौजूद है और समय समय पर इसकी अलग अलग परिभाषाएं दी गयी है लेकिन सामान्य तौर पर कंप्यूटर की जो परिभाषा है, वो यह है की ‘कंप्यूटर एक ऐसा यंत्र होता है।

जो Information को Digitised Data के रूप में स्वीकार करता है, उसे Store करता है और निर्देशों के अनुसार उसे Process करने के बाद Output प्रदान करता है’। सरल भाषा में कहा जाये तो कंप्यूटर हमारे कमांड के अनुसार सम्भव रिजल्ट देता है अब क्योंकी परिभाषा की बात हो चुकी है तो चलिए सामान्य भाषा में समझते है की आखिर कंप्यूटर क्या है? तो जानकारी के लिए बता दे की Computer एक ऐसी Machine है जो यूजर के द्वारा दिए जाने वाले निर्देशो का सटीक रूप से पालन करता है और उसे रिजल्ट प्रदान करती है।

कंप्यूटर में, यूजर के द्वारा इनपुट किये जाने पर डाटा को प्रोसेस किया जाता है और उसके बाद परिणाम को दर्शाया जाता है। ना केवल एक डेस्कटॉप कंप्यूटर है बल्कि लैपटॉप आदि सभी डिवाइज जिनका हम उपयोग करते है, कंप्यूटर की श्रेणी में ही आते है। कंप्यूटर (Computer) शब्द आया है कम्प्यूट (Compute) से, कंप्यूटर एक लेटिन शब्द है जिसका मतलब होता है गणना करना या फिर कहा जाये तो गिनती करना। सरल भाषा में समझा जाये तो Compute शब्द एक तरह से अंग्रेजी भाषा के एक शब्द Calculation का पर्यायवाची है।


कंप्यूटर की पीढियां (Generation of Computer in Hindi)

कंप्यूटर आज के समय में सबसे अधिक उपयोग किये जाने वाले यंत्रो में से एक है या फिर यह भी कहा जा सकता है की कंप्यूटर का आज के समय में हर क्षेत्र के विकास में एक अहम योगदान है परन्तु आज का कंप्यूटर जितना आधुनिक है उतना आधुनिक यह शुरुआत से नहीं था। वर्तमान समय में हम कंप्यूटर की 5वी पीढ़ी अर्थात Fifth Genration of Computer का उपयोग कर रहे हैं, परन्तु यह शुरुआत से ऐसा नहीं था। धीरे धीरे इसका विकास होता गया और यह बेहतरीन बनता गया और अभी भी बन रहा है।

कंप्यूटर की शुरुआत हजारों सालों पहले की मानी जाती है परंतु आधुनिक कंप्यूटर की शुरुआत कंप्यूटर की पहली पीढ़ी के साथ होती है जो 1940 से 1956 तक चली। इसके बाद लगातार कंप्यूटर का बड़े बड़े बदलावों के साथ विकास होता गया और वर्तमान समय में हम जिस कंप्यूटर का उपयोग कर रहे हैं वह उस रूप में पहुंच गया। शुरुआत में कंप्यूटर काफी बडे हुआ करते थे और उनकी गति काफी कम हुआ करती थी अर्थात वह काफी धीमे थे जबकि आज कंप्यूटर काफी छोटे हो गए हैं और इनकी गति काफी तेज हो चुकी है।

अगर आज से कुछ दशकों पहले तक जाया जाए तो वर्तमान समय में हम जिस आधुनिक कंप्यूटर का उपयोग कर रहे हैं उसकी कल्पना करना भी मुश्किल हुआ करता था परंतु आज के समय में कंप्यूटर काफी तेज हो चुके हैं और यह हर क्षेत्र में विकास में काफी उच्च स्तरीय योगदान दे रहे हैं। आज हम कंप्यूटर की पांचवी पीढ़ी का उपयोग कर रहे हैं जो काफी आधुनिक है और लगातार विकसित होती जा रही है, लेकिन इससे पहले भी कंप्यूटर की 4 पीढ़िया थी। कंप्यूटर की अब तक की सभी पीढ़िया कुछ इस प्रकार रही है:


  • कंप्यूटर की पहली पीढ़ी (First Generation of Computer – 1940 से 1956 तक)
  • कंप्यूटर की दूसरी पीढ़ी (Second Generation of Computer – 1956 से 1963 तक)
  • कंप्यूटर की तीसरी पीढ़ी (Third Generation of Computer – 1964 से 1971 तक)
  • कंप्यूटर की चौथी पीढ़ी (Fourth Generation of Computer – 1971 से 1985 तक)
  • कंप्यूटर की पांचवी पीढ़ी (Fifth Generation of Computer – वर्तमान समय का कंप्यूटर)

यह कंप्यूटर की अब तक की पीढ़िया रही है। कंप्यूटर का इतिहास कंप्यूटर की पहली पीढ़ी से नहीं रहा क्युकी कंप्यूटर का इतिहास हजारो सालो पहले का माना जाता है लेकिन यह कहा जा सकता है की जिस आधुनिक कंप्यूटर का उपयोग हम आज कर रहे है, उसका इतिहास मुख्य रूप से कंप्यूटर की पहली पीढ़ी से रहा है। कंप्यूटर की पहली पीढ़ी की शुरुआत 1940 से हुई और उसके बाद अगली 3 पीढ़ियों के बाद आज हम जिस आधुनिक कंप्यूटर का इस्तेमाल करते है, उसकी पीढ़ी आयी।

कंप्यूटर की पहली पीढ़ी – First Generation of Computer in Hindi

कंप्यूटर की पीढिया कौन-कौन सी रही है और कब से कब तक रही है, इस बात की जानकारी हम आपको दे चुके है अर्थात कंप्यूटर की पीढ़ियों (Generation of Computer in Hindi) के बारे में आपको बता चुके है। लेकिन अगर आप कंप्यूटर की पीढ़ियों के बारे में जानना चाहते है तो केवल इतना जानना काफी नहीं है की कंप्यूटर की पीढ़िया कौन कौनसी थी और कब से कब तक रही थी, बल्कि आपको इनके बारे में विस्तार से जानना होगा। तो चलिए शुरुआत करते है कंप्यूटर की पहली पीढ़ी से!

कंप्यूटर की पहली पीढ़ी अर्थात First Generation of Computer को वेक्यूम ट्यूब्स कंप्यूटर (Vacuum Tubes Computer) भी कहते है। कंप्यूटर की पहली पीढ़ी में कंप्यूटर के पीछे की प्रौद्योगिकी एक नाजुक कांच का उपकरण या फिर कहा जाये तो Fragile Glass Device थी। जिसे सामान्य भाषा में वैक्यूम ट्यूब्स (Vacuum Tubes) कहा जाता था और यही कारण था की कंप्यूटर की पहली पीढ़ी (First Generation of Computer in Hindi) को वेक्यूम ट्यूब कंप्यूटर भी कहा जाता था।


कंप्यूटर की पहली पीढ़ी के कंप्यूटर काफी भारी हुआ करते थे और इनका आकार काफी बड़ा हुआ करता था। इन कंप्यूटर के भार और आकार का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है की इनको रखने के लिए एक कमरे की जरूरत हुआ करती थी। यह Computer अधिक भरोसेमंद नहीं थे क्युकी इनमे Programming करना वाकई में काफी जटिल कार्य हुआ करता था, सरल भाषा में कहे तो Programming करना Computer की First Generation में बहुत मुश्किल काम हुआ करता था।

अब अगर आप यह सोच रहे है की आखिर इसका कारण क्या था की इन कंप्यूटर में प्रोगरामिंग करना काफी मुश्किल था, तो जानकारी के लिए बता दे की कंप्यूटर की पहली पीढ़ी के कंप्यूटर में काफी Low Level की Programming Language का इस्तेमाल किया जाता था। जिसके चलते इसमें Programming करना काफी मुश्किल था और इसके अलावा एक बड़ी समस्या यह भी थी की इन कंप्यूटर में कोई OS अर्थात Operating System नहीं हुआ करता था तो ऐसे में इनका इस्तेमाल करना काफी मुश्किल था।

तो अब ऐसे में यह सवाल आता है की आखिर इन कंप्यूटर अर्थात कंप्यूटर की पहली पीढ़ी के कंप्यूटर का उपयोग किया क्यों जाता था तो जानकारी के लिए बता दे की कंप्यूटर की पहली पीढ़ी के कंप्यूटर अर्थात First Generation Computer का उपयोग मुख्य रूप से Calculation, Storage और Control आदि कार्यो के लिए किया जाता था।

क्युकी यह कंप्यूटर काफी भारी और बड़े थे तो ऐसे में यह ना केवल एक कमरे की जगह लेते थे बल्कि साथ में यह इलेक्ट्रिसिटी भी काफी ज्यादा कंज्यूम करते थे। अगर पहली पीढ़ी के कंप्यूटर्स में से मुख्य कंप्यूटर्स की बात की जाये तो ENIACEDVAC  और UNIVAC शामिल है। यह तीनो कंप्यूटर कंप्यूटर की पहली जनरेशन के मुख्य कंप्यूटर माने जाते है और इनके बारे में जानना इसलिए जरुरी है क्युकी यही कंप्यूटर थे।

जिन्होंने आधुनिक कंप्यूटर की नीव रखी और धीरे धीरे विकसित होते होते हमारे सामने आज के तेज और बेहतर कंप्यूटर आ पाए जो काफी Efficient और उपयोगी है। अगर आप ENIAC, EDVAC और UNIVAC के बारे में अधिक जानना चाहते है, तो जानकारी कुछ इस तरह है:

ENIAC : ENIAC का पूरा नाम Electronic Numerical Integrator and Computer था जो J. Presper Eckert और John V. Mauchly के द्वारा बनाया गया सामान्य उद्देश्य वाला कंप्यूटर था। यह कंप्यूटर काफी भारी और बड़ा था और आपको यह जानकार हैरानी होगी की इसमें 18000 वेक्यूम ट्यूब्स का इस्तेमाल किया गया था।

ESVAC : ESVAC अर्थात Electronic Discrete Variable Automatic Computer को डिजाइन किया था Neumann ने। इस कम्यूटर के बारे में ख़ास बात यह थी की यह Data को Instruction अर्थात निर्देश के रूप में भी Store कर सकता था। इसके अलावा इसकी गति भी पिछले कम्यूटर से अधिक थी।

UNIVAC : First Generation of Computer के मुख्य कंप्यूटर्स में से एक UNIVAC भी था जिसका निर्माण 1952 में Eckert and Mauchly ने मिलके किया था और इन्होने पहले के मुकाबले कम्यूटर को बेहतर बना दिया था जिससे की इस पर ज्यादा Tasks परफॉर्म हो सके और यह अधिक उपयोगी बने।

कंप्यूटर की पहली पीढ़ी से जुड़ी हुई कुछ विशेष बातें

  • कंप्यूटर की पहली पीढ़ी में Main electronic component हुआ करता था Vacuum tube जिसके चलते इन्हे वेक्यूम ट्यूब कंप्यूटर भी कहा जाता था।
  • पहली पीढ़ी के कंप्यूटर में Programming language हुआ करती थी Machine language, जिसके साथ Programming करना काफी मुश्किल था।
  • कंप्यूटर की पहली पीढ़ी में Main Memory हुआ करती थी Magnetic Tapes और Magnetic Drums, जो इसमें कुछ सामान्य टास्क पॉसिबल बनाती थी।
  • Input/output devices की बात की जाये तो First Generation के Computers की, तो वह Paper Tape और Punched Cards थे।
  • कंप्यूटर की पहली पीढ़ी के Speed और Size के बारे में बात की जाये तो इनकी Speed काफी Slow थी और Size काफी ज्यादा थी जिसके चलते इन्हे एक कमरे जितनी जगह मिलती थी।
  • कंप्यूटर की पहली पीढ़ी के उदाहरणो में IBM 650, IBM 701, ENIAC, UNIVAC1 आदि शामिल है।

कंप्यूटर की दूसरी पीढ़ी – Second Generation of Computer in Hindi

इस लेख में हम कंप्यूटर की पीढ़ियों के बारे में बात कर रहे है और आपको कंप्यूटर की पीढ़ियों की जानकारी आसान भाषा में (Generation of Computer in Hindi) दे रहे है। हम आपको यह बता चुके है की आखिर कंप्यूटर की पीढ़िया कौन कौनसी है। और यह कब से लेकर कब तक चली थी लेकिन अब इनके बारे में विस्तार से जानना भी जरूरी है। कंप्यूटर की पहली पीढ़ी की जानकारी विस्तार में हम आपको दे चुके है तो अब बारी है कंप्यूटर की दूसरी पीढ़ी अर्थात Second Generation of Computer की।

जैसा की आप जान चुके हो की कंप्यूटर की पहली पीढ़ी में कंप्यूटर के पीछे की मुख्य प्रौद्योगिकी हुआ करती थी वेक्यूम ट्यूब्स जो उसे काफी बड़ा और धीमा बनाती थी लेकिन क्युकी कंप्यूटर में लगातार विकास चल रहा था तो ऐसे में सामने आयी कंप्यूटर की दूसरी पीढ़ी अर्थात Second Generation of Computer।

जो पहली पीढ़ी के मुकाबले अधिक बेहतर और उपयोगी थी, और इस पीढ़ी के कंप्यूटर में Vacuum Tubes नहीं बल्कि Transistor का उपयोग किया गया, जिससे कंप्यूटर बेहतर बने Vacuum Tubes वाले कंप्यूटर अर्थात पहली पीढ़ी के कंप्यूटर काफी बड़े और धीमे हुआ करते थे और साथ ही काफी भारी भी, ऐसे में इनमे बदलाव की जरूरत थी।

और इसके लिए बदलने की जरूरत थी मुख्य प्रौद्योगिकी अर्थात Vacuum Tubes को, तो ऐसे में Vacuum Tubes की जगह Computers में Transistors का उपयोग किया जाने लगा, जो कंप्यूटर के पीछे की मुख्य प्रौद्योगिकी बनी और कुछ इस तरह से शुरु हुई कंप्यूटर की दूसरी पीढ़ी अर्थात Second Generation of Computer!

दूसरी पीढ़ी के कंप्यूटर में Vacuum Tubes की जगह Transistors का उपयोग किया जा रहा था जो Semiconductor Material से बना हुआ एक डिवाइज होता है जो एक संकेत को आगे बढ़ाता है और Circuit को खोलता या बंद करता है। इसके अलावा दूसरी पीढ़ी के कंप्यूटर में एक विशेषता यह भी थी की इनमे Core Memory का उपयोग हुआ था जिसने इन कंप्यूटर को बेहतर बना दिया था और यह अधिक उपयोगी हो गए थे। Transistor के उपयोग से कंप्यूटर अधिक मजबूती और गति के साथ विभिन्न Tasks को Perform कर पाते थे।

Transistor का आविष्कार Bell Labs में हुआ था और Transistors के इस्तेमाल से कंप्यूटर अधिक तेज और बेहतर हो गए थे। कंप्यूटर में Vacuum Tube की जगह Transistors का उपयोग करने के चलते कंप्यूटर के Dimensions अर्थात आकार कम हुआ और साथ ही Vacuum Tubes जो अत्यधिक गर्मी पैदा करती थी। उसकी समस्या भी थोड़ी दूर हुई और एक खास बात यह भी थी की Transistor के उपयोग ने कंप्यूटर को थोड़ा सस्ता भी बना दिया जिससे की कंप्यूटर का विस्तार हो सका और यह अधिक लोगो के पास पहुंचा।

Second Generation के Computers के बारे में Transistor और Core Memory ही खास बाते नहीं थी बल्कि Second Generation के Computers के साथ Central Processing Unit (CPU), Programming Language और Input और Output Unit भी बेहतर आने लगी जिससे की कंप्यूटर काफी उपयोगी हो गए ।

और इनका इस्तेमाल करना भी पहले से आसान हो गया। यह पहली पीढ़ी की तुलना में काफी बेहतर थे और अच्छी परफॉर्मेंस दे रहे थे और लोग इन्हे पसंद भी कर रहे थे। अब अगर इन कंप्यूटर से सम्बंधित Programming Language के बारे में बात की जाये जो उस समय Computer के बारे में सबसे महत्वपूर्ण बात हुआ करती थी तो पहली पीढ़ी के कंप्यूटर के मुकाबले Programming Language को दूसरी पीढ़ी के कंप्यूटर में थोड़ा सरल बनाया गया।

जिससे की Programmer आसानी से कंप्यूटर का इस्तेमाल करके विभिन्न Tasks Perform कर सके। उस समय Programming Language जो उपयोग की जा रही थी वह FORTRAN (1956), ALGOL (1958), और COBOL (1959) थी।

कंप्यूटर की दूसरी पीढ़ी से जुड़ी हुई कुछ विशेष बातें

  • Main Electronic Component जो कंप्यूटर की दूसरी पीढ़ी में उपयोग किया जा रहा था वह Transistor था, जो Vacuum Tubes से काफी बेहतर था।
  • Programming Language जो दूसरी पीढ़ी के कंप्यूटर में उपयोग की जा रही थी वह Machine Language और Assembly Language थी।
  • Memory जो दूसरी पीढ़ी के कंप्यूटर में उपयोग की जा रही थी वह Magnetic core and magnetic tape/disk थी।
  • Input/output devices दूसरी पीढ़ी के कंप्यूटर के Magnetic tape and punched cards थे।
  • बात की जाये Power और Size की तो कंप्यूटर की दूसरी पीढ़ी Size में Small थी, कम Power कंज्यूम करती थी और कम Heat जनरेट करती थी।
  • दूसरी पीढ़ी के कंप्यूटर के उदाहरण में PDP-8, IBM1400 series, IBM 7090 और 7094, UNIVAC 1107, CDC 360 आदि शामिल है।

कंप्यूटर की तीसरी पीढ़ी – Third Generation of Computer in Hindi

भले ही क्षेत्र कोई सा भी हो, कंप्यूटर दुनिया के विकास में काफी योगदान दे रहे हैं। आज के समय में हम एक आधुनिक दुनिया में जी रहे हैं और इस आधुनिक दुनिया की कल्पना बिना कंप्यूटर के की ही नहीं जा सकती। वर्तमान समय में हम काफी आधुनिक कंप्यूटरों का उपयोग कर रहे हैं। लेकिन यह आधुनिक कंप्यूटर शुरुआत से ऐसे नहीं थे बल्कि इनमें लगातार विकास हुआ और यह बेहतर होते गए और इस तरह से हमारे सामने वर्तमान के आधुनिक कंप्यूटर आए जो काफी Powerful, Efficient है और साथ ही काफी छोटे भी है।

आधुनिक कंप्यूटर को सटीक रूप से समझने के लिए यह जरूरी है कि आप कंप्यूटर के इतिहास के बारे में भी जाने और अगर आधुनिक कंप्यूटर के इतिहास के बारे में बात की जाए तो इसके लिए आपको कंप्यूटर की सभी पीढ़ियों की जानकारी लेनी होगी। यह हम आपको बता ही चुके हैं कि कंप्यूटर की 5 पीढ़ियां है और कंप्यूटर कि इन पांचों पीढ़ियों की जानकारी हम आसान भाषा में (Generation of Computer in Hindi) दे रहे है। कंप्यूटर की पहली और दूसरी पीढ़ी के बारे में हम आपको बता चुके हैं तो अब बारी है तीसरी पीढ़ी की।

कंप्यूटर की तीसरी पीढ़ी अर्थात Third Generation of Computer पहली दोनों कंप्यूटर पीढ़ियों के मुकाबले बेहतर और आधुनिक थी और साथ ही छोटी भी थी। अगर बात की जाए दूसरी पीढ़ी के मुकाबले तीसरी पीढ़ी में मुख्य बदलाव की तो यह बदलाव था Integrated Circuits का।

जिस तरह से कंप्यूटर की पहली पीढ़ी के पीछे मुख्य प्रौद्योगिकी Vacuum Tube थी और दूसरी पीढ़ी के पीछे मुख्य प्रौद्योगिकी Transistor थी उसी तरह से तीसरी पीढ़ी में ट्रांजिस्टर को बदला गया Integrated Circuits के द्वारा। कंप्यूटर की दूसरी पीढ़ी में कंप्यूटर में बड़े-बड़े Transistor लगाए गए थे जिसके चलते कंप्यूटर पहली पीढ़ी के मुकाबले छोटा तो था परंतु वह अभी काफी बड़ा और भारी था और साथ ही इसमें Power भी बहुत ज्यादा नहीं थी।

जिसके चलते Transistor की जगह कंप्यूटर में Integrated Circuits का इस्तेमाल किया जाने लगा, जिसे सामान्य भाषा में हम IC भी बुलाते है। IC में कई तरह के Transistors को Silicon Chips पर Place किया गया जिसे Semiconductor कहते है, और प्रौद्योगिकी को अधिक बेहतर बनाया गया। IC अर्थात Integrated Circuits को Silicon से बनाया जाता था जिसके चलते इन्हे Silicon Chips भी कहा जाता था। केवल एक IC अर्थात Integrated Circuit में Transistors, Registers और Capacitors हुआ करते थे जो Silicon के एक टुकड़े पर बने हुए होते थे। कंप्यूटर की तीसरी पीढ़ी के दौरान आकार का महत्त्व कम हुआ और Memory Space और Dealing Efficiency काफी बढ़ गयी।

वही Programming से भी BASIC (Beginners All-purpose Symbolic Instruction Code) जैसी Higher Languages को हटाया गया जिससे इनमे प्रोगरामिंग करना थोड़ा आसान हो गया। क्युकी अब पहले के मुकाबले अधिक बेहतर प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल किया जा रहा था तो ऐसे में तीसरी पीढ़ी के कंप्यूटर अर्थात Third Generation Computers में बेहतर Speed मिल रही थी और साथ ही तीसरी पीढ़ी के कंप्यूटर अधिक Reliable अर्थात भरोसेमंद भी हो गए थे।

तीसरी पीढ़ी के कंप्यूटर में Technology काफी एडवांस हो गयी थी और यही से Mini Computers की शुरुआत हो चुकी थी जिससे आधुनिक कंप्यूटर की कल्पना की गयी जो कम आकार का हो और अधिक शक्तिशाली हो।

कंप्यूटर की तीसरी पीढ़ी से जुड़ी हुई कुछ विशेष बातें

  • कंप्यूटर की तीसरी पीढ़ी में कंप्यूटर में Main Electronic Component था Integrated Circuits (ICs) जिसने कंप्यूटर को छोटा और आधुनिक बनाया।
  • कंप्यूटर की तीसरी पीढ़ी में Programming language थी High-level language जिसमे BASIC जैसी Higher Level Language को हटा दिया गया।
  • अगर बात की जाये तीसरी पीढ़ी के कंप्यूटर की Memory की तो Large Magnetic Core और Magnetic Tape/Disk का इसमें इस्तेमाल होता था।
  • अगर तीसरी पीढ़ी के कंप्यूटर के Input /Output Devices की बात की जाये तो उनमे Magnetic Tape, Monitor, Keyboard, Printer आदि शामिल थे।
  • तीसरी पीढ़ी के कंप्यूटरो के उदाहरण में IBM 360, IBM 370, PDP-11, NCR 395, B6500, UNIVAC 1108 आदि शामिल है।

कंप्यूटर की चौथी पीढ़ी – Fourth Generation of Computer in Hindi

इस लेख में हम बात कर रहे हैं कंप्यूटर की पीढ़ियों की जिनके बारे में वर्तमान समय में कंप्यूटर का उपयोग करने वाले अधिकतर लोग नहीं जानते लेकिन किसी भी चीज के बारे में अधिक जानकारी होना बेहतर होता है। जिससे कि हम उस चीज को अच्छी तरह से समझ पाए। इस लेख में हम आपको कंप्यूटर की पीढ़ियों की जानकारी आसान भाषा में (Generation of Computer in Hindi) में दे रहे है और अब तक कंप्यूटर की तीन पीढ़ियों की जानकारी दे चुके हैं, तो अब बारी है कंप्यूटर की चौथी पीढ़ी के बारे में जानने की।

कंप्यूटर की पिछली तीन पीढ़ियों के बारे में आपने जाना की कैसे कंप्यूटर की पहली पीढ़ी से लेकर कंप्यूटर की तीसरी पीढ़ी तक कंप्यूटर कितना विकास कर चूका था जिसमे कंप्यूटर की मुख्य प्रौद्योगिकी का विकास तो हो ही रहा था लेकिन साथ में उसके आसपास की सभी चीजें भी बदल रही थी जिससे कंप्यूटर अधिक उपयोगी हो रहा था। और अधिक शक्तिशाली होने के साथ छोटा भी हो रहा था। इस तरह से कंप्यूटर अधिक Reliable बन रहा था और साथ ही अधिक तेज भी, जिसके चलते उसका तेजी से विस्तार भी होता जा रहा था।

लेकिन प्रौद्योगिकी के बारे में सबसे खास बात यह है कि यह हमेशा आगे बढ़ती जाती है जिससे कि यह लोगों के लिए अधिक उपयोगी होती है और उनके कामों को अधिक आसान बनाती है तो ऐसे में कंप्यूटर की पहली पीढ़ी से लेकर कंप्यूटर की तीसरी पीढ़ी तक कंप्यूटर का काफी विकास हुआ। परंतु अब भी विकास की काफी संभावनाएं बाकी थी तो ऐसे में कंप्यूटर की चौथी पीढ़ी सामने आई, जिसमे सबसे बड़ा बदलाव यह हुआ कि अब कंप्यूटर में Micro-processors का उपयोग किया जाने लगा।

साल 1971 में कंप्यूटर में पहली बार Micro-processors का इस्तेमाल किया गया और अगर आप नहीं जानती कि Micro-processor क्या होता है तो जानकारी के लिए बता दे की एक बड़े पैमाने पर LSI Circuits को एक Chip पर बनाया जाता है। और उस Chip को Microprocessor कहा जाता है। इस प्रौद्योगिकी के बारे में सबसे खास बात यह होती है की एक Microprocessor ही Arithmetic, Logic और Control Functions को Perform करने के लिए सभी जरूरी Circuits को एक ही Chip पर कंटेन कर सकता है।

Computer की Fourth Generation में Microprocessor का इस्तेमाल किया जा रहा था तो ऐसे में इस पीढ़ी के कंप्यूटरो को Microcomputer कहा जा रहा था। क्योंकि कंप्यूटर की चौथी पीढ़ी में कंप्यूटर में माइक्रो प्रोसेसर का उपयोग करने के बाद काफी कम साइज में काफी अधिक सर्किट को कंटेन करना संभव हो गया था ।

तो ऐसे में इस पीढ़ी में काफी छोटे कंप्यूटर देखने को मिले जो आकार में तो छोटे थे परंतु Capabilities के मामले में काफी आगे आ गए थे अर्थात काफी सक्षम और उपयोगी हो गए थे। लेकिन क्युकी प्रौद्योगिकी लगातार आगे बढ़ती जाती है और हमेशा विकास करती है तो ऐसे में जल्द ही VLSI (Very Large Scale Integrated) Circuits ने LSI Circuits को Replace कर दिया जिसके चलते कंप्यूटर और भी छोटा और बेहतर हो पाया।

साल 1971 में विकसित की गयी The Intel 4004chip ने कंप्यूटर के सभी कॉम्पोनेंट्स जैसे की CPU और Memory  से लेकर Input/Output Controls को एक ही Chip पर Contain करना संभव बना दिया जिससे की Dimensions को काफी Reduce किया जा सका।

कंप्यूटर की चौथी पीढ़ी से जुड़ी हुई कुछ विशेष बातें

  • कंप्यूटर की चौथी पीढ़ी के कंप्यूटर में Main Electronic Component थे Very large-scale integration (VLSI) और Microprocessor, जिन्होंने कंप्यूटर को छोटा और अधिक काबिल बनाने में मदद की।
  • Memory के बारे में बात की जाये तो चौथी पीढ़ी के कंप्यूटर में Semiconductor Memory जैसे की RAM और ROM मौजूद थी।
  • Input/output devices की बात की जाये तो कंप्यूटर की चौथी पीढ़ी में Pointing Devices, Optical Scanning, Keyboard, Monitor, Printer आदि मौजूद थे।
  • अगर कंप्यूटर की चौथी पीढ़ी के कंप्यूटर के उदाहरणों की बात की जाये इसमें IBM PC, STAR 1000, APPLE II, Apple Macintosh, Alter 8800 आदि शामिल थे।

कंप्यूटर की पांचवी पीढ़ी – Fifth Generation of Computer in Hindi

इस लेख में हम बात कर रहे कंप्यूटर की पीढ़ियों की, क्युकी कंप्यूटर प्रौद्योगिकी से जुड़ा हुआ एक खास उपकरण है तो ऐसे में यह नहीं कहा जा सकता है कि किसी भी समय में कंप्यूटर में विकास होना रुक जाएगा क्योंकि कंप्यूटर शुरुआत से विकसित होता आया है।

और आज भी हो रहा है और यही कारण है कि कंप्यूटर की पहली पीढ़ी से लेकर हम कंप्यूटर की पांचवी पीढ़ी में पहुंच गए जो वर्तमान समय की सबसे आधुनिक कंप्यूटर की पीढ़ी है और पिछली सभी कंप्यूटर पीढ़ियों के मुकाबले अधिक उपयोगी और सक्षम हैं। इस लेख में हम आपको कंप्यूटर की पीढ़ियों की जानकारी आसान भाषा में (Generation of Computer in Hindi) दे रहे है और अब तक कंप्यूटर की पिछली 4 पीढ़ियों के बारे में बता चुके हैं।

तो अब बारी है कंप्यूटर की पांचवी और वर्तमान में सबसे आधुनिक पीढ़ी के बारे में जानने की जिसे कंप्यूटर की पांचवीं पीढ़ी या फिर Fifth Generation of Computer कहा जाता है। कंप्यूटर की पांचवी पीढ़ी में चौथी पीढ़ी के मुकाबले कई बदलाव आये है लेकिन सबसे बड़ा बदलाव है AI अर्थात Artificial Intelligence का आना।

AI अर्थात Artificial Intelligence कंप्यूटर को मनुष्यो की तरह व्यवहार करने के काबिल बनाता है। मनुष्य जैसा व्यवहार करने का मतलब मनुष्य की तरह रहना नहीं बल्कि मनुष्य की तरह सोचते हुए कम्यूटर उपयोग कर रहे व्यक्ति की बेहतर तरिके से मदद करना या फिर सरल भाषा में कहा जाये तो बेहतर Result प्रदान करना है।

कंप्यूटर की पांचवी पीढ़ी में AI का आना इसे पहले के मुकाबले काफी बेहतर बनाता है, क्युकी अब काफी तेजी से और काफी आसानी से कई काम किये जा सकते है, जो पहले संभव नहीं था। AI का उपयोग हम कई प्रोग्राम जैसे की Voice Recognition, Medicines के क्षेत्र और Entertainment आदि में कर रहे है। Gaming के क्षेत्र में भी AI काफी बेहतर Performance दिखाता है जिसमे यह मनुष्य प्रतिस्पर्धियों को हराने का साहस भी रखता है। गति जो पहले सबसे बड़ी समस्या हुआ करती थी।

और जिस पर सबसे अधिक ध्यान दिया जाता था, वह काफी तेज हो चुकी है और लगातार तेज होती जा रही है। इसके अलावा कंप्यूटर की साइज काफी छोटी हो चुकी है और यह काफी उपयोगी बन चूका है। कंप्यूटर में वर्तमान में जितना AI का उपयोग किया जा रहा है यह लोगों के लिए काफी फायदेमंद साबित हो रहा है परंतु यह कहा जाता है कि आज भी एआई को शत-प्रतिशत रूप से कंप्यूटर में नहीं लाया गया है। लेकिन जिस तरह से इस क्षेत्र में काम चल रहा है।

उसे देखते हुए यह कहना मुश्किल नहीं है कि जल्द ही प्रौद्योगिकी की दुनिया लोगों का यह सपना भी पूरा कर देगी और हम शत प्रतिशत तरीके से Artificial Intelligence का उपयोग कर पाएंगे जिससे यह काफी उपयोगी और लाभदायक बन जायेगा।

अगर कंप्यूटर की पांचवी पीढ़ी को थोड़ा आसान शब्दो में समझा जाये तो इस पीढ़ी में कंप्यूटर में AI तो आया ही है लेकिन Microprocessor के साथ अन्य Components भी बेहतर हुए है। इतना ही नहीं बल्कि इतने फीचर्स और सुविधाए अब कंप्यूटर दे रहा है की लोग काफी कुछ इसके द्वारा कर पा रहे है। यह कहना गलत नहीं होगा की इतने सालो में कंप्यूटर की पांचवी पीढ़ी आते आते कंप्यूटर काफी छोटा हो चूका है लेकिन कंप्यूटर की काबिलियत काफी बढ़ चुकी है अर्थात यह काफी Reliable हो गया है।

कंप्यूटर की पांचवी पीढ़ी से जुड़ी हुई कुछ विशेष बातें

  • कंप्यूटर की पांचवी पीढ़ी में Main Electronic Component माना जाता है ULSI Tech, Parallel Processing Method को जो AI आधारित है।
  • Language के बारे में बात की जाये तो कंप्यूटर की पांचवी पीढ़ी सामान्य भाषा को अर्थात सामान्य मनुष्य भाषाओ को भी समझती है जिससे इसका उपयोग करना काफी आसान हो गया है।
  • Size के बारे में बात की जाये पांचवी पीढ़ी के कंप्यूटर काफी ज्यादा Portable हो चुके है और छोटे हो चुके है जिसके चलते लोग इन्हे अपने साथ ले जा सकते है आसानी से।
  • Input/Output Devices के बारे में बात की जाये तो कंप्यूटर की पांचवी पीढ़ी में Trackpad, Touchscreen, Pen, Speech Input, Light Scanner, Printer, Keyboard, Monitor, Mouse आदि शामिल है।

अधिक जानकारी के लिए आप यह वीडियो भी देख सकते हो।

कंप्यूटर की पीढ़ियों से पहले के कंप्यूटर – Computers Before Modern Computer Generations in Hindi

इस लेख में हमने कंप्यूटर की पीढ़ीयो के बारे में बात की और जाना की कंप्यूटर की पांच पीढ़िया है जिसमें पहली पीढ़ी की शुरुआत 1940 में हुई और चौथी पीढ़ी का अंत 1985 में हुआ और उसके बाद से हम कंप्यूटर की वर्तमान पीढ़ी अर्थात पांचवी पीढ़ी का उपयोग कर रहे हैं।

कंप्यूटर की पांचों पीढ़ियों के बारे में हम आपको आसान भाषा में जानकारी (Generation of Computer in Hindi) दे चुके है और उम्मीद है की आपको कंप्यूटर की इन पीढ़ियों के बारे में पर्याप्त जानकारी इस लेख से मिल गई होगी।

कंप्यूटर की पीढ़ियों के बारे में तो हम जान चुके हैं और कंप्यूटर की पीढ़ियों को आधुनिक कंप्यूटर से सम्बंधित माना जाता है अर्थात कंप्यूटर की पहली पीढ़ी अर्थात First Generation के कंप्यूटर से आधुनिक कंप्यूटर की शुरुआत मानी जाती है जबकि इससे पहले भी कंप्यूटर रहे है और पहला कंप्यूटर तो हजारो सालो पहले बनाया गया।

अगर आप कंप्यूटर की पीढ़ियों से पहले के कंप्यूटरों के बारे में जानना चाहते हो तो बता दे की आधुनिक कंप्यूटर की पीढ़ियों से पहले के कम्यूटर कुछ इस प्रकार है:

  • Abacus (ca. 2700 BC)
  • Pascal’s Calculator (1652)
  • Stepped Reckoner (1694)
  • Arithmometer (1820)
  • Comptometer (1887) and Comptograph (1889)
  • The Difference Engine (1822)
  • Analytical Engine (1834)
  • The Millionaire (1893)

आधुनिक कंप्यूटरो की पीढ़ियों की शुरुआत से पहले के यह 8 मुख्य कंप्यूटर माने जाते है। कई लोगो को शायद यह बात पता भी नहीं होगी की दुनिया का पहला कंप्यूटर अर्थात Abacus दुनिया में 2700 ईसापूर्व बनाया गया था।

इसके बाद 7 और कंप्यूटर आये और फिर 1940 में कंप्यूटर की पहली पीढ़ी के साथ आधुनिक कंप्यूटर की शुरुआत हुई। यह धीरे धीरे विकसित होता गया और अधिक उपयोगी बनता गया। वर्तमान समय में आधुनिक कंप्यूटर के अत्याधिक योगदान के चलते हम एक आधुनिक जीवन जी पा रहे है।

FAQ :

कंप्यूटर की जनरेशन कितनी है?

साल 1940 में कम्प्यूटर की पहली जनरेशन की शुरुआत हुई थी जिसके बाद कम्प्यूटर की 4 पीढ़िया आई और अभी हम कम्प्यूटर की पांचवी पीढ़ी का इस्तेमाल कर रहे है अर्थात कम्प्यूटर की 5 पीढ़िया है, जिनमे पहली, दूसरी, तीसरी, चौथी और पांचवी पीढ़ी शामिल है।

कंप्यूटर की 5 पीढ़ियां कौन कौन सी है?

कम्प्यूटर की अब तक 5 पीढ़िया रही है जिनमे कम्प्यूटर की पहली पीढ़ी (1940 से 1956 तक), दूसरी पीढ़ी (1956 से 1963 तक), तीसरी पीढ़ी (1964 से 1971 तक), चौथी पीढ़ी (1971 से 1985 तक), पांचवी पीढ़ी (वर्तमान समय का कम्प्यूटर) आदि शामिल है।

कंप्यूटर जनरेशन से आप क्या समझते हैं?

कम्प्यूटर की जनरेशन बनाई गयी है कम्प्यूटर के समय के साथ हुए विकास को सटीक रूप से दर्शाने के लिए अर्थात कंप्यूटर की जनरेशन कम्प्यूटर के समय के साथ हुए विकास को दर्शाने का काम करती है। कम्प्यूटर की जनरेशन के बारे में जानते हुए आप कम्प्यूटर के विकास को सटीक रूप से समझ सकते हो।

इस समय कंप्यूटर का कौन सा जनरेशन चल रहा है?

अगर आप नहीं जानते की इस समय कम्प्यूटर का कौन सा जनरेशन चल रहा है तो जानकारी के लिए बता दे की इस समय कम्प्यूटर की पांचवी जनरेशन चल रही है जो कम्प्यूटर की शुरुआती जनरेशन से लेकर कम्प्यूटर की दुनिया में आज तक हुए विकास का परिणाम है।

कंप्यूटर का जनक कौन है?

अगर आप कम्प्यूटर के जनक के बारे में जानकारी नहीं रखते तो जानकारी के लिए बता दे की कम्प्यूटर का जनक माना जाता है चार्ल्स बेबेज को जो एक गणितज्ञ, दार्शनिक, आविष्कारक और यांत्रिक इंजीनियर थे। इन्ही के आविष्कार के चलते आज हम कम्प्यूटर का इस्तेमाल कर पा रहे है।

इस बात में कोई दो राय नहीं है कि कंप्यूटर हम सभी के जीवन का महत्वपूर्ण भाग बन चुके हैं और वर्तमान समय में हम जो आधुनिक जीवन जी रहे हैं उसका श्रेय कंप्यूटर और समय के साथ हुए कंप्यूटर में विकास को ही जाता है जिसने काफी सारी चीजें संभव बनाई जिसके चलते आज हम एक आधुनिक जीवन जी पा रहे हैं।

परंतु कई लोग हैं जो आधुनिक कंप्यूटर की शुरुआत से लेकर अब तक की कहानी अर्थात कंप्यूटर की पीढ़ियों के बारे में नहीं जानते। यही कारण है कि हमने यह लेख तैयार किया है जिसमें हमने ‘कंप्यूटर की पीढ़ियों की जानकारी’ आसान भाषा में (Generation of Computer in Hindi) दी है।

जिससे की आप कंप्यूटर की पीढ़िया सटीक रूप से समझ पाओ।

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हेलो दोस्तों, मेरा नाम अंकुर सिंह है और में New Delhi से हूँ। मैंने B.Tech (Computer Science) से ग्रेजुएशन किया है। और में इस ब्लॉग पर टेक्नोलॉजी, कंप्यूटर, मोबाइल और इंटरनेट से जुड़े लेख लिखता हूँ।

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